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तिरुपति बालाजी मंदिर कहा है, इतिहास व बाल देने का महत्व जाने | Tirupati Balaji Kahan Hai

तिरुपति बालाजी मंदिर कहां है: तिरुपति बालाजी (Tirupati Balaji Mandir) सनातन धर्म में प्रमुख धार्मिक आस्था का केंद्र है। बता दे की प्रति वर्ष लाखों की संख्या में श्रद्धालु तिरुपति बालाजी के दर्शन करने के लिए आते हैं। तिरुपति बालाजी मंदिर (Tirupati Balaji temple) तिरुपति वेंकटेश्वर मन्दिर जो भारत के आंध्र प्रदेश के तिरुपति जिले के पहाड़ी शहर तिरुमला में स्थित है। इस मंदिर में भगवान विष्णु तिरुपति बालाजी के रूप में विराजमान हैं। तिरुपति बालाजी मंदिर के बारे में कहा जाता है कि अगर कोई भी व्यक्ति सच्चे मन से तिरुपति बालाजी में जाकर भगवान तिरुपति के दर्शन करता है तो उसके जीवन के सभी संकट और दुख हरण व मनोरथ पूर्ण हो जाता हैं। इस मंदिर के संबंध में एक मान्यता बहुत ज्यादा प्रचलित है यदि किसी भक्त की मनोकामना यहां पर पूरी नहीं हो रही है तो उसे अपने बालों का दान यहां पर करना होगा।

तभी जाकर उसकी मनोकामना की पूर्ति वेंकटेश्वर स्वामी तिरुपति भगवान के द्वारा द्वारा किया जाएगा। ऐसे में आप भी तिरुपति बालाजी मंदिर के बारे में जानना चाहते हैं तो’ आज के आर्टिकल में tirupati balaji temple Kah Hai उससे जुड़ी सभी जानकारी आपके साथ साझा करेंगे इसलिए आर्टिकल पर बने रहे हैं-

Tirupati Balaji Kah Hai

आर्टिकल का प्रकारभारत का प्रमुख धार्मिक स्थल
आर्टिकल का नामतिरुपति बालाजी मंदिर कहां है
 साल2023
कहां पर स्थित हैभारत के आंध्र प्रदेश चितुर जिलों के तिरुपति में
प्रत्येक साल दर्शन के लिए कितने लोग आते हैंकरोड़ संख्या में श्रद्धालु प्रत्येक वर्ष आते हैं
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ऑफिशल वेबसाइटclick here

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तिरुपति बालाजी मंदिर कहा है (Tirupati Balaji Mandir Kahan Hai

बालाजी मंदिर आंध्र प्रदेश के चितुर जिले के तिरुपति स्थित है। ऐसा माना जाता है कि तिरुपति बालाजी मंदिर में दर्शन करने के बाद व्यक्ति के सारे पाप धुल जाते हैं और साथ में आपका जीवन धन्य हो जाता है। इसलिए आप अपने जीवन में एक बार तिरुपति बालाजी मंदिर जाकर भगवान तिरुपति (वेंकेटेश्वर स्वामी) के दर्शन जरूर करें।

तिरुपति बालाजी मंदिर का इतिहास | History of Tirupati Balaji Temple)

स्वामी वेंकेटेश्वर मंदिर का इतिहास (History of Tirupati Balaji Temple) काफी पुरातन हैं। तिरुपति बालाजी मंदिर का निर्माण 300 ईसवी में शुरू हुआ था। कई राजाओं के द्वारा मंदिर निर्माण में अहम भूमिका निभाई गई हैं। 18वीं सदी में मराठा जनरल रघुजी भोसले के द्वारा मंदिर निर्माण संबंधित कामों को पूरा किया था। इसके लिए उन्होंने स्थाई प्रबंध समिति भी बनाई थी जिसके मंदिर देखरेख और मंदिर में व्यवस्था सुचारू रूप से संचालित हो।

इसके लिए योजना का निर्माण किया गया था। जो आज तक संचालित हो रही है। इस प्रबंधन समिति का नाम तिरुमला तिरुपति देवस्थानम रखा गया है। समिति को 1935 में टीटीडी (TTD) के अधिनियम के माध्यम से विकसित और प्रोत्साहित किया गया था। वर्तमान में यह समिति पूरे मंदिर देखरेख अच्छी तरह करती है। इसके अलावा मंदिर परिसर में व्यवस्था अच्छी हो इसके लिए प्रबंधन समिति में काम करने वाले लोग 24 घंटे मंदिर की सेवा में तत्पर है।

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तिरुपति बालाजी की चढ़ाई कितनी है

Titupati Balaji Mandir की चढ़ाई करना काफी कठिन है। इसके लिए आपको तिरुमाला पहाड़ियों पर चढ़ने के लिए अलीपिरी सीढ़ियों का उपयोग करें, कुल मिलाकर आपको 3500 सीढ़ियाँ, चढ़ने होंगे जिसमें 4 घंटे का समय लगेगा चलने में लगभग 4 घंटे का समय लगता है। इसके अलावा श्रीवरी मेट्टू सीढ़ियाँ चढ़ने में लगभग 3 घंटे 30 मिनट लगते हैं।

तिरुपति बालाजी कैसे पहुंचे by Train

Tirupati Balaji आप ट्रेन के माध्यम से भी जा सकते हैं। इसके लिए आप जिस राज्य में रहते हैं उसे राज्य से तिरुपति बालाजी जाने वाली ट्रेन उपलब्ध है कि नहीं उसके बारे में आप रेलवे या टिकट काउंटर से जाकर पता कर सकते हैं। बता दे की तिरुपति बालाजी मंदिर पहुंचने के लिए आपको रेनीगुंटा रेलवे जंक्शन ट्रेन से आपको पहुंचना है। यह तिरुपति से 10 किमी की दूरी पर स्थित है। भारत के विभिन्न राज्यों से तिरुपति बालाजी मंदिर पहुंचने के लिए रेल सेवा रेलवे के द्वारा शुरू की गई हैं। इसके अलावा तिरूपति बालाजी धाम के पास तिरुपति रेलवे स्टेशन मौजूद है। बैंगलोर, हैदराबाद, चेन्नई जैसे शहरों से होकर ट्रैन उपलब्ध है।

तिरुपति बालाजी बाल देने का महत्व

तिरुपति बालाजी मंदिर में  बाल देने की एक अनूठी परंपरा हैं। ऐसा कहा जाता है कि यहां पर मनोकामना पूर्ति के लिए आपको अपने बाल दान करने होंगे। तभी जाकर आपकी मनोकामना पूर्ति हो पाएगी। इसके अलावा जो लोग यहां पर अपने बाल का दान करते हैं। वह अपना अहंकार और बुराई त्याग करते हैं और साथ में अगर जीवन उन्होंने कोई पाप किया है तो उनके सारे पाप यहां पर धुल जाते हैं। यही वजह है कि तिरुपति बालाजी में बाल /hair देने का देने का विशेष महत्व हैं।

अन्य पूछे गए प्रश्न: तिरुपति बालाजी मंदिर कहां है

Q. तिरुपति बालाजी मंदिर कहा है?

Ans. तिरुपति बालाजी मंदिर भारत में आंध्रप्रदेश राज्य के चित्तूर जिले में तिरुपति नामक जगह से 26 किमी की दूरी पर तिरूमला की पहाड़ियों पर स्थित हैं।

Q. तिरुपति बालाजी जी से रामेश्वरम की दूरी कितनी है? 

Ans. तिरुपति बालाजी जी से रामेश्वरम की सड़क मार्ग की दूरी 670 किमी है। सड़क के द्वारा तिरुपति बालाजी पहुंचने में आपको 13 घंटे का समय लगेगा।

Q. तिरुपति बालाजी की चढ़ाई कितनी है?

Ans. तिरुपति बालाजी जी मंदिर में जाने के लिए 3500 सीढ़ियां कर जाना पड़ता है।

Q. तिरुपति से मल्लिकार्जुन ज्योतिर्लिंग दूरी कितनी है?

Ans. तिरुपति बालाजी से मल्लिकार्जुन ज्योतिर्लिंग 370 किलोमीटर की दूरी पर है आंध्र प्रदेश  के कृष्णा जिले में स्थित है।

Q. तिरुपति में सबसे पहले किस मंदिर में जाना है?

Ans. तिरुपति बालाजी मंदिर में ट्रेडिशनल दर्शन करने की प्रक्रिया काफी आसान और सहज है सबसे पहले  सबसे पहले भक्तों को वराह मंदिर में दर्शन करना चाहिए तत्पश्चात कल्याण कट्टा में अपने केश दान करने के बाद नारियल हुंडी में नारियल चढ़ा कर दीपक जलाया जाता हैं इसके बाद तिरुपति बालाजी जी के दर्शन हेतु जाते है।

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